दोस्तों आज मैं अपने Basic knowledge of computer in hindi में बात करने वाला हूँ। यह अनेक प्रकार के इलेक्ट्रानिक एवं वैद्युत उपकरणों से मिलकर बना होता है जिसमें की – बोर्ड , माउस , सी.पी.यू. , मॉनीटर , स्पीकर आदि भाग होते हैं । प्रत्येक भाग के अलग – अलग कार्य निश्चित होते हैं । यह सामूहिक रूप से मिलकर एक सिस्टम की तरह कार्य करते हैं । इसमें इनपुट डिवाइस , आउटपुट डिवाइस , प्रोसेसिंग यूनिट एवं मेमोरी यूनिट होते हैं । इनका उद्देश्य कार्यों को तीव्र एवं शुद्ध तरीके से करना होता है।
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Basic Knowledge of Computer in hindi |
इनपुट एवं आउटपुट डिवाइस क्या है | What is Input and Output Device
What is Input Device in Hindi | इनपुट डिवाइस क्या है | Input Device Kya Hai
कम्प्यूटर में जिस डिवाइस द्वारा निर्देश दिये जाते हैं उन्हें इनपुट डिवाइस कहते हैं ।
किसी भी निर्देश एवं डाटा को इनपुट डिवाइस के माध्यम से ही कम्प्यूटर को उपलब्ध कराया जाता है । इनपुट उपकरणों का प्रयोग कम्प्यूटर में आँकड़े डालने के लिए किया जाता है । कम्प्यूटर में अनेक प्रकार के इनपुट डिवाइस प्रयोग किये जाते हैं , जैसे की – बोर्ड , माउस , स्कैनर आदि की बोर्ड सबसे अधिक प्रचलित इनपुट उपकरणों में से एक हैं , जिसका प्रयोग कम्प्यूटर में आँकड़े डालने और निर्देश देने के लिए किया जाता है।
>> What is an input device? Definition and types of input device
What is Output Device In Hindi | आउटपुट डिवाइस क्या है | Output Device Kya hai
कम्प्यूटर में वे डिवाइस जिनके माध्यम से हम निर्देशों का अन्तिम निष्कर्ष या परिणाम प्राप्त करते हैं , उसे आउटपुट डिवाइस कहते हैं ।
आउटपुट डिवाइस , हार्डवेयर का एक अवयव अथवा कम्प्यूटर का मुख्य भौतिक भाग है , जिसे छुआ सकता है , यह सूचना के किसी भी भाग तथा प्रकार जैसे ध्वनि , डाटा , मेमोरी आदि को प्रदर्शित कर सकता है । आउटपुट डिवाइसों में सामान्यतः मॉनिटर , प्रिन्टर , इयरफोन तथा प्रोजेक्टर सम्मिलित हैं ।
>> What is an output device? Definition and types of output devices
What is Mouse in Hindi | माउस क्या है | Mouse Kya Hai
माउस कम्प्यूटर की सर्वाधिक प्रचलित प्वाइन्टर डिवाइस है जिसका प्रयोग चित्र या ग्राफिक्स बनाने के साथ – साथ किस बटन या मेन्यू पर क्लिक करने के लिए किया जाता है । इसकी सहायता से हम की बोर्ड का प्रयोग किये बिना अपने पी.सी. को नियंत्रित कर सकते हैं । माउस में दो या तीन बटन होते हैं , जिनकी सहायता से कम्प्यूटर को निर्देश दिये जाते हैं । माउस को घुमाने या हिलाने पर स्क्रीन पर प्वाइण्टर उसी के अनुसार घूमता है । माउस के नीचे की ओर रबर की गेंद ( Ball ) होती है । समतल सतह पर माउस को हिलाने पर यह गेंद घूमती है ।
How Many Types of Mouse in Hindi | माउस कितने प्रकार के होते हैं | Mouse Kitne Prakar ke Hote Hain
माउस प्रायः तीन प्रकार के होते
1. मैकेनिकल माउस
2. प्रकाशीय माउस
3. तार रहित माउस
What is Mechanical Mouse in Hindi | मैकेनिकल माउस क्या है | Mechanical Mouse Kya hai
इसके निचले भाग में एक रबर की गेंद लगी होती है । जब माउस को सतह पर घुमाते हैं तो वह उस खोल के अन् घूमती है । माउस के अन्दर गेंद घूमने से इसके अन्दर के सेन्सर्स कम्प्यूटर को संकेत देते हैं ।
What is Optical Mouse in Hindi | प्रकाशीय माउस क्या है | Prakashiy mouse kya hai
यह नॉन मैकेनिकल माउस है । इसमें प्रकाश की एक पुंज ( किरण ) इसके नीचे की सतह से उत्सर्जित होती है , जिसके परिवर्तन के आधार पर यह आबजेक्ट की दूरी तथा गति तय करता है ।
What is a Wireless Mouse in Hindi | तार रहित माउस क्या है | Tar Rahit Mouse Kya Hai
यह रेडियो आवृत्ति ( Radio Frequency ) तकनीक की सहायता से कम्प्यूटर को सूचना कम्युनिकेट करता है इसमें दो मुख्य कम्पोनेन्ट्स ट्रॉसमीटर तथा रिसीवर होते हैं । ट्रांसमीटर माउस में होता है । रिसीवर जो कम्प्यूटर से होता है और वह सिग्नल को प्राप्त करता है ।
What is the function of mouse in hindi | माउस के कार्य क्या-क्या होता है | mouse ke kary kya-kya hota hai
- क्लिकिंग , डबल क्लिकिंग , दायाँ क्लिकिंग , ड्रैगिंग ( Dragging ) , स्क्रोलिंग ( Scrolling )
- माउस को इधर – उधर सरकाने से माउस प्वाइन्टर स्क्रीन पर किसी भी दिशा में घूमता है।
- माउस का बटन दबाकर एक स्थान से दूसरे स्थान तक ले जाने ( ड्रॅगिंग ) पर वह स्थान काला हो जाता है , जिसे सेलेक्ट करते हैं।
- माउस को डेस्कटॉप के आइकन पर रखकर लगातार दो बार बाँया बटन दबाने पर सम्बन्धित सॉफ्टवेयर खुल जाता है।
- स्क्रीन पर एक बालू घड़ी यह संकेत करती है कि कम्प्यूटर आन्तरिक रूप से कार्य कर रहा है , आपको तब तक इन्तजार करना पड़ेगा जब तक यह फिर से तीर न बन जाय।
- पुनः एक बार माउस के दायें बटन दबाने पर विन्डोज के अन्य विकल्प खुल आते हैं । यह इस बात पर निर्भर करता कि स्क्रीन पर विन्डोज खुला हुआ है या कोई अन्य साफ्टवेयर ।
What is keyboard in Hindi | की-बोर्ड क्या है | Keyboard Kya Hai
की – बोर्ड एक इनपुट डिवाइस है । इसके द्वारा प्रोग्राम एवं डाटा को कम्प्यूटर में एंटर किया जाता है यह टाईपराइटर की – बोर्ड जैसा ही होता है । इसमें अल्फाबेट्स , नम्बर स्पेशल कीज , फंक्शन कीज , मोवमेन्टकीज और पंचुएशन की होती है । जब एक की ( Key ) दबाई जाती है तब एक इलेक्ट्रॉनिक सिग्नल उत्पन्न होता है । जो की बोर्ड एनकोडर नाम के इलेक्ट्रॉनिक सर्किट द्वारा डिटेक्ट किया जाता है । कम्प्यूटर के की – बोर्ड में टाइप राइटर पर मिलने वाली सभी कीज होती हैं और कुछ अतिरिक्त कीज भी होती हैं । ये अतिरिक्त कीज कर्सर कन्ट्रोल , इन्सर्ट , डिलीट और स्क्राल कंट्रोल कीज Keys ) होती हैं । कुल मिलाकर 104 कीज होती हैं ।
कर्सर नियंत्रण कीज पर तीर ( ऐरो ) का निशान बना होता है जिन्हें हम बायें , दायें , नीचे और ऊपर ऐसे करते हैं । कर्सर कीज की मदद से कर्सर को स्क्रीन पर बायें , दायें ऊपर और नीचे लाने ले जाने का कार्य किया जाता है।
फंक्शन कीज ( F1 ) से ( F12 ) तक होती है । यह की अलग – अलग सॉफ्टवेयर में अलग – अलग तरह से कार्य करती है ।
टाइपराइटर कीज में अक्षर , संख्या और अन्य संकेत छपे होते हैं ।
न्यूमेरिक की पैड की – बोर्ड के दायीं ओर होता है । इसमें कैलकुलेटर जैसे बटन बने होते हैं ।
कैप्स लॉक बटन को एक बार दबा कर छोड़ देने के बाद टाइप करने पर अक्षर बड़े ( Capital ) में टाइप होने लगता है और फिर दुबारा बटन दबाकर छोड़ देने के बाद टाइप करने पर शब्द छोटा टाइप होने लगता है ।
शिफ्ट की को दबाकर अक्षर टाइप करने पर वह बड़ा टाइप होता है ।
एन्टर / रिटर्न कीज का इस्तेमाल दो कामों के लिए होता है
1. स्क्रीन पर लिखे निर्देशों को एन्टर की दबाकर प्रोसेसर ( सी.पी.यू. ) तक भेजना ।
2. अक्षर टाइप करने के बाद एन्टर की दबाने से कर्सर नई लाईन पर पहुँच जाता है ।
डिलीट की से स्क्रीन पर लिखा अक्षर मिट जाता है ।
बैक स्पेस दबाने से कर्सर एक अक्षर पीछे आ जाता है तथा जिस अक्षर पर कर्सर पहले था वह मिट जाता है । इसके अलावा और भी कीज हैं जो अलग – अलग कार्यों के लिए प्रयुक्त होती हैं ।
>> What are the functions of different keys of keyboard
What is C.P.U. in Hindi | सेंट्रल प्रोसेसिंग यूनिट ( C.P.U. ) क्या है | C.P.U. Kya Hai
सी.पी.यू. कम्प्यूटर का मस्तिष्क ( ब्रेन ) होता है । इसका मुख्य कार्य है प्रोग्राम को चलाना और अन्य सभी घटक ( Components ) जैसे मेमोरी , की – बोर्ड और प्रंटर आदि के कार्य को कण्ट्रोल करना होता है । कम्प्यूटर की यह यूनिट अंकगणित , तार्किक नियंत्रण से जुड़े कार्य इनपुट कार्य , आउटपुट कार्य संपन्न करती है । इसे आमतौर पर प्रोसेसर के रूप में भी जाता है । मण्डमएस मेमोरी ) – यह एक अस्थायी मेमारी है । किसी भी डेटा अथवा सूचना को संचित करने के लिए रैम का उपयोग करते हैं । इसमें डेटा अथवा सूचना को आवश्यकतानुसार पढ़ा एवं किया जा सकता है यह सूचना रैम में तब तक ही रहती है जब तक पावर सप्लाई रहती है । पावर सप्लाई बन्द होने पर सारी की सारी सूचना विलुप्त हो जाती है । इसे कम्प्यूटर में मदरबोर्ड पर लगाया जाता है और मदरबोर्ड के माध्यम व्ही कम्प्यूटर के अन्य घटक एक दूसरे से जुड़े होते हैं ।
सी.पी.यू. के मुख्य घटक | Main Components of C.P.U. in Hindi
अंकगणितीय तर्क इकाई ( A.L.U ) , प्रोसेसर रजिस्टर , कंट्रोल यूनिट डेस्कटॉप लैपटॉप , टैबलेट कम्प्यूटर , स्मार्टफोन आदि सभी उपकरणों में C.P.U , का उपयोग किया जाता है
मेमोरी
मेमोरी कम्प्यूटर का बहुत ही महत्वपूर्ण भाग होता है जिसमें डाटा को स्थायी या अस्थायी रूप से संग्रहित करते हैं।
यह मुख्यतः दो प्रकार की होती हैं-
1. अस्थायी मेमोरी
2. स्थायी मेमोरी
रैम (रैंडम एक्सेस मेमोरी) – यह एक अस्थायी मेमोरी है। किसी भी डेटा अथवा सूचना को संचित करने के लिए रैम का उपयोग करते हैं । इसमें डेटा अथवा सूचना को आवश्यकतानुसार पढ़ा एवं परिवर्तित किया जा सकता है । यह सूचना रैम में तब तक ही रहती है जब तक पावर सप्लाई रहती है । पावर सप्लाई बन्द होने पर सारी की सारी सूचना विलुप्त हो जाती है।
रोम (रीड ओनली मेमोरी) – यह स्थायी मेमोरी होती है । जब पावर सप्लाई स्विच ऑफ हो जाती है तब भी मेमोरी में संग्रह किया डाटा लुप्त नहीं होता है ।
हार्ड डिस्क – यह स्थायी मेमोरी है । हार्ड डिस्क सूचना संग्रह करने हेतु प्रयोग की जाती है और यह कम्प्यूटर के अन्दर लगी होती है । इसमें घूमने वाले डिस्क होते हैं । जिसमें चुम्बकीय लेप लगा होता है । इस डिस्क में डाटा भण्डारण कर देने पर डाटा डिलीट नहीं होती है और लम्बे समय तक सुरक्षित रहती है ।
कॉम्पेक्ट डिस्क – कॉम्पेक्ट डिस्क में भी आँकड़ों को सुरक्षित रखा जाता है । जिसमें आँकड़े अंकीय प्रारूप में संचित होते हैं । मूल रूप से इसका विकास ध्वनि रिकार्डिंग के लिए हुआ था , बाद में इसका प्रयोग अन्य आँकड़ों के संचय के लिए किया जाने लगा । संक्षेप में इसे सी.डी. कहा जाता है ।
पेन ड्राइव – यह एक पोर्टेबल यूनिवर्सल सीरियल बस ( यू.एस.बी. ) फ्लैश मेमोरी डिवाइस है जिसमें डाटा आँकड़ा फाइल , ऑडियो वीडियों को संग्रहित और स्थानान्तरित किया है । यह भिन्न – भिन्न क्षमताओं में उपलब्ध होती हैं । इसे कम्प्यूटर यू.एस.बी. पोर्ट में लगाकर उपयोग किया जाता है ।
>> What is Computer Memory And Its Types
>> WHAT IS ROM? || HOW DOES ROM WORK? FULL PROCESS
What is Monitor in Hindi | मॉनीटर क्या है | Monitor Kya Hai
मॉनीटर कम्प्यूटर का मुख्य आउटपुट डिवाइस है । कम्प्यूटर पर किये जाने वाले प्रत्येक कार्य को यह दिखाता इसके द्वारा प्रयोगकर्ता और कम्प्यूटर के बीच में सम्बन्ध स्थापित होता है । मॉनीटर डाटा और सूचनाओं को प्रदर्शित करता है । यह कलर या ब्लैक एण्ड व्हाइट टाइप के अनुसार ही पिक्चर को दिखाते हैं । कलर मॉनीटर्स , ब्लैक एण्ड व्हाइट मॉनीटर्स से अधिक कीमती होते हैं । जब भी आप कुछ की बोर्ड पर टाइप करते हैं तो अप उसे मॉनीटर पर देख सकते हैं । इसकी संरचना टेलीविज़न की तरह होती है ।
सामान्यतः मॉनीटर दो प्रकार के होते हैं
1. CRT (सी . आर . टी .)
2. TFT (टी.एफ.टी.)
कम्प्यूटर ऑन-ऑफ करना | How to Turn on and off Computer in Hindi
कम्प्यूटर के सी.पी.यू. में मुख्य रूप से पावर ऑन और ऑफ बटन होता है कभी कभी यह बटन सी.पी.यू.के पीछे की ओर लगा होता है । इस बटन को दबाने पर कम्प्यूटर में विद्युत संचार होने लगता है तथा वह कार्य करने के लिए तैयार जाता है । इस बटन को पुनः दबाने पर कम्प्यूटर बन्द हो जाता है । रीसेट बटन द्वारा बिजली से बिना सम्पर्क तोड़े कम्प्यूटर को दोबारा चालू कर सकते हैं ।
>> How to starting and shutting down a computer step by step
What is Computer Software in Hindi | कम्प्यूटर सॉफ्टवेयर क्या है | Comoputer Software Kya Hai
निर्देशों का एक समूह ( सैट ) जो एक विशेष कार्य करता है प्रोग्राम या सॉफ्टवेयर प्रोग्राम कहलाता है । प्रोग्राम के निर्देश , कम्प्यूटर को इनपुट कार्य करने , डाटा को श्रीसेंस करने तथा रिजल्ट को आउटपुट करने के लिए निर्देशित ( डायरेक्ट ) करते हैं । कम्प्यूटर सॉफ्टवेयर परिणाम को भी निर्धारित करता है । जिस प्रकार मनुष्य किसी कार्य को करने के लिए चीजों को आँखों से देखता है , आवाजों को कानों से सुनता है तथा नाक से सूघता है । तत्पश्चात् वह अपने मस्तिष्क में उन पर विचार करता है । विचार करने के बाद उसका उत्तर देता है । ठीक उसी प्रकार कम्प्यूटर भी कार्य करने के लिए उन डेटा ( आँकड़ों ) को की – बोर्ड , माउस , स्कैनर आदि के माध्यम से लेता है , तत्पश्चात् सी.पी.यू. उनका प्रोसेस ( क्रियान्वयन ) करता है एवं प्रोसेस करने के बाद उसका उत्तर मॉनीटर पर है ।
सॉफ्टवेयर के प्रकार | type of software
सॉफ्टवेयर को तीन श्रेणियों में बाँटा जा सकता है-
1. सिस्टम सॉफ्टवेयर
2. ऐप्लीकेशन सॉफ्टवेयर
3. पैकेजेज
What is System Software in hindi | सिस्टम सॉफ्टवेयर क्या है | System Software Kya hai
सिस्टम सॉफ्टवेयर एक या एक से अधिक प्रोग्राम्स के सेट है जो मूल रूप से एक कम्प्यूटर सिस्टम के कार्य को कंट्रोल करने के लिए डिजाइन किये गये हैं । ये जनरल प्रोग्राम्स है जो ऐप्लीकेशन्स सॉफ्टवेयर को ऐक्जीक्यूट करने के सभी स्टेप्स ( जैसे सभी कार्यों को कंट्रोल करना , डाटा को कम्प्यूटर के बाहर अन्दर मूव कराना , आदि ) को करने के लिए कम्प्यूटर सिस्टम को प्रयोग करने में यूजर्स की मदद के लिए किये गये हैं ।
सिस्टम सॉफ्टवेयर के अनुप्रयोग
सिस्टम सॉफ्टवेयर निम्नलिखित को सपोर्ट करता है।
● अन्य सॉफ्टवेयर को चलाना
● प्रिंटर्स , कार्ड रीडर्स , डिस्क और टेप डिवासेस आदि के साथ कम्प्यूनिकेट करना ।
● अन्य प्रकार के सॉफ्टवेयर को विकसित करना ।
● विभिन्न हार्डवेयर रिसोर्सेज जैसे मेमोरी , प्रिंटर्स , सी.पी.यू. आदि के प्रयोग को मॉनीटर करना ।
इस तरह सिस्टम सॉफ्टवेयर कम्प्यूटर सिस्टम के कार्य को अधिक कुशल और प्रभावी बनाते हैं ।
What is Application Software in hindi | एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर क्या है | Application Software Kya hai
एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर वे साफ्टवेयर होते हैं , जो किसी एक विशेष कार्य हेतु बनाये जाते हैं । इस साफ्टवेयर की मदद से जो सॉफ्टवेयर बनाये जाते हैं , उन्हें पैकेज कहते हैं । जैसे आप कम्प्यूटर पर एक लेटर बनाना चाहते हैं तो लेटर बनाते के लिए एम . एस . वर्ड ( MS – Word ) सॉफ्टवेयर का प्रयोग करेंगे । इसी तरह गाना सुनने व देखने के लिए मीडिया प्लेयर ( Media Player ) सॉफ्टवेयर का प्रयोग करेंगे ।
What is Utility Software in hindi | यूटीलिटी सॉफ्टवेयर क्या है | Utility Software kya hai
यूटीलिटी सॉफ्टवेयर को सर्विस प्रोग्राम के नाम से जाना जाता है । इसका प्रयोग कम्प्यूटर को रिपेयर करने के लिए करते हैं।
जैसे हमारे कम्प्यूटर में वायरस आ जाता है , तो हम एक एण्टीवायरेस का प्रयोग किया जाता है। उदाहरण डिस्क फाइल रिकवरी प्रोग्राम, स्टोरेट बैकअप प्रोग्राम आदि यूटिलिटी प्रोग्राम है।